ऋषिकेश : उत्तराखंड राज्य में नवी नवेली पार्टी आम आदमी पार्टी मिशन 2022 की तैयारियों में जुट गयी है. पार्टी की रफ्तार को और धार देते हुए आम आदमी पार्टी डोर टू डोर अभियान भी शुरू कर दिया है। आम आदमी पार्टी इस अभियान के माध्यम से जनता तक पहुंच कर उनसे चुनाव में “आप” को वोट देने का आग्रह कर रहे हैं।आगामी विधानसभा चुनाव में जनता को भाजपा के भ्रष्टाचार और अवरुद्ध विकास से छुटकारा दिलाने के उद्देश्य से आम आदमी पार्टी के नेताओं ने कमर कस ली है।अभियान के दौरान डांडी ग्राम सभा रायवाला की पंचायत सदस्य ज्योति कंडवाल समेत दर्जनों लोगों ने पार्टी की सदस्यता ली।
ऋषिकेश विधानसभा के ग्रामीण एवं शहरी क्षेत्रों में लगातार अभियान के माध्यम से लोगों के घरों में पार्टी कार्यकर्ता दस्तक दे रहे हैं। पार्टी के ऋषिकेश विधानसभा प्रभारी डॉ राजे सिंह नेगी ने इस डोर टू डोर अभियान पर बात करते हुए बताया आगामी विधानसभा चुनाव के लिए हम पूरी तरह से तैयार हैं। इसी के तहत हमने जनता के बीच डोर टू डोर अभियान शुरू किया। इस डोर टू डोर अभियान में हमें आम आदमी पार्टी के लिए तगड़े रुझान देखने को मिल रहे हैं। हमने जनता से आम आदमी पार्टी को वोट करने की अपील कर रहे हैं ताकि हम उन्हें वह उत्तराखंड दे सकें जिसके वे हकदार है।उन्होंने कहा उत्तराखंड की जनता भाजपा को सत्ता से बेदखल करने का मन बना चुकी है।
लेकिन सबसे बड़ी चुनौती गुटबाजी है, इससे कैसे निपटा जाए ?
पार्टी के लिए आने वाले दिनों में समस्या पैदा कर सकती है गुटबाजी. पार्टी ने एक ऑफिस नेपाली फार्म तिराहे पर बना दिया है वहीँ से अधिकतर कार्यक्रम हो रहे हैं ऐसे में ऋषिकेश शहर में कुछ लोग खुश नहीं हैं और वे भी अलग तरह से अपना प्रचार करने में जुटे हुए हैं. उनके और भी तर्क हैं. आलम यह है, पार्टी के पूर्व प्रदेश पदाधिकारी हैं वो नए नेताओं से नाराज चल रहे हैं. उनका कहना है हम इतने सालों से पार्टी में हैं हमें नहीं पूछा जा रहा है, दशहरे के दिन से वे हिडन झाड़ू थामे घूम रहे हैं. नए नेता हरिद्वार-ऋषिकेश सीमा से आते हैं लेकिन वे मना नहीं पा रहे हैं पुराने वालों को. उनका सामाजिक रूतबा है पढ़े लिखे हैं प्रदेश के सबसे बड़े नेता से सीधे संपर्क भी है, अब यह ‘याराना’ कितने दिन चलता है राजनीती का वक्त बताएगा. ऐसे में झाड़ू किस दिशा में चलती है देखने वाली बात होगी आगामी चुनाव में, अगर ऋषिकेश विधानसभा की बात करें तो. दूसरा कोयल घाटी पर जो ऑफिस बनाया था वह बंद हो चुका है. यह गुटबाजी पार्टी को आगे बढ़ने में दिक्कतें पैदा कर सकती हैं. अगर इसका समाधान जल्द नहीं निकला तो चुनाव में नुक्सान होना तय है. निश्चित तौर पर, इसका फायदा भाजपा और कांग्रेस या अन्य दल को होगा. आम आदमी पार्टी के शीर्ष नेतृत्व को यह समझना होगा यह उत्तराखंड है राजधानी दिल्ली नहीं. पहाड़ी राज्य होने की वजह से यहाँ की समस्याएं दूसरी हैं मुफ्त में रेवड़ियां बांटने से अच्छा है प्रभावी मॉडल सामने रखे और जनता के बीच गंभीर हो कर जाए, जिसकी अभी फिलहाल कमी दिख रही है. सूत्रों की मानें तो पुराने कार्यकर्ता अधिकतर नाराज हैं, नए पुरानों को मना नहीं पा रहे हैं. ऐसे में पार्टी संगठन को देखना होगा कैसे इस समस्या से पार पाएं ? नहीं तो बरिष्ठ नेतागण कहीं देवभूमि में पर्यटक बन के न रह जाये !
इस मौके पर संगठन मंत्री दिनेश असवाल, देवराज नेगी,विक्रांत भारद्वाज,प्रभात झा,हिमांशु नेगी,अश्वनी सिंह,विजय लक्ष्मी कंडवाल,मनमोहन नेगी,अजय रावत,पंकज गुसाईं उपस्थित थे।