नई दिल्ली: एक वो दौर था जब भारत हथियार निर्यात करने में बहुत ही पीछे हुआ करता था, लेकिन आज के समय में भारत से भी बड़ी मात्रा में हथियारों का निर्यात होता है। यह मुमकिन हुआ है मेक इन इंडिया की बदौलत, जिसके चलते आज हम बहुत सारे हथियारों के मामले में ना सिर्फ आत्मनिर्भर बन गए हैं, बल्कि उनका निर्यात भी करने लगे हैं। वहीं दूसरी ओर हथियारों का आयात घटा है। आइए जानते हैं कैसे मेक इन इंडिया के चलते हथियारों के मामले में भारत की ताकत हर दिन बढ़ती ही जा रही है।
कहां छोड़ा था मनमोहन ने, कहां तक ले गए मोदी?
मोदी सरकार 2014 से सत्ता में आई। रक्षा मंत्रालय के बयान के अनुसार 2014 से लेकर अब तक हथियारों का निर्यात करीब 6 गुना तक बढ़ गया है। 2014-15 में हथियारों का निर्यात करीब 1941 करोड़ रुपये था, जो अब 2021-22 तक बढ़कर 11,607 करोड़ रुपये के आंकड़े को छू चुका है। पिछले सालों में हथियारों का आयात 30 फीसदी से भी अधिक गिरा है। यानी अब हम पहले की तुलना में अधिक हथियार बनाते हैं और उन्हें दुनिया के दूसरे देशों को बेचते हैं।
हथियार बेचने में दुनिया के मुकाबले भारत कहां?
मौजूदा समय में भारत से हथियारों का निर्यात बहुत ही कम देशों में होता है। Stockholm International Peace Research Institute की 2021 की एक रिपोर्ट के मुताबिक भारत हथियार निर्यात करने के मामले में दुनिया में 24वें नंबर पर है। भारत से हथियारों का निर्यात होने वाले देशों में म्यांमार, श्रीलंका और मॉरिशस जैसे टॉप-3 देश शामिल हैं। 2016-20 के आंकड़ों को देखें तो दुनिया के टॉप सप्लायर रूस (49%), फ्रांस (18%), इजराइल (13%) और अमेरिका जैसे देश थे। वहीं टॉप आयातकों में सऊदी अरब (11%), भारत (9.5%), इजिप्ट (5.8%) जैसे देश थे। पाकिस्तान (2.7%) इस लिस्ट में 10वें नंबर पर था।
हथियार निर्यात में तेजी से आगे बढ़ रहा है भारत
जूनियर डिफेंस मिनिस्टर अजय भट्ट ने लोकसभा में लिखित जवाब में कहा कि सरकार की तरफ से हथियारों के निर्यात को बढ़ाने के लिए हर संभव कोशिश की जा रही है। उन्होंने कहा कि हथियारों का निर्यात बढ़ाने में ऑर्डिनेंस फैक्ट्री बोर्ड और इसकी 41 फैक्ट्रियों को 7 डिफेंस पीएसयू के साथ जोड़े जाने से भी मदद मिली है। इसी साल जनवरी में भारत ने फिलीपींस को ब्रह्मोस मिसाइलें निर्यात करने की एक डील की है, जो 2770 करोड़ रुपये में हुई है। इस डील के चलते इंडोनेशिया और वियतनाम जैसे एशियाई देशों में भी भारत से हथियारों के निर्यात का रास्ता खुलेगा। भारत अभी सऊदी अरब और यूएई के साथ ब्रह्मोस मिसाइल के निर्यात को लेकर बातचीत कर रहा है। इन देशों से आकाश एयर डिफेंस मिसाइलों को लेकर भी बातचीत हो रही है।