मनोज रौतेला की रिपोर्ट :
देहरादून: राजधानी देहरादून के हाथीबड़कला क्षेत्र में बुधवार शाम को एक उड़ने वाला सांप पकड़ा गया. वन बिभाग तुरंत मौके पर पहुंचा और रेस्क्यू कर अपने साथ ले गया. ऐसे में इस प्रजाति का सांप मिलने से हर कोई हैरान था.
हाथीबड़कला में एक महिला के घर में दुर्लभ ब्रांजबैक ट्री स्नेक जिसे उड़ने वाला सांप भी कहा जाता है, ऐसा सांप मिलने से वन बिभाग भी हैरान था. वन विभाग की टीम ने पकड़कर जंगल में छोड़ दिया है। विभाग की रेस्क्यू टीम के लीडर रवि जोशी ने बताया कि हाई जंप मारने के कारण इस सांप को लोग उड़ने वाला सांप भी कहते हैं। ये दून के आसपास घने जंगलों में तो मिलता है, लेकिन शहरी क्षेत्र में नहीं पाया जाता। इससे पहले करीब चार महीने पहले सहस्रधारा रोड स्थित उषा कालोनी में भी एक सांप पाया गया था।
इसके बाद ये दूसरा सांप मिला है। उन्होनें बताया कि हाथीबड़कला निवासी गायत्री सहगल के घर में ये दिखा था। जिस पर उन्होनें सूचना दी वन बिभाग को। सूचना के बाद वे टीम के साथ रेस्क्यू के लिए पहुंचे। इसे एक पेड़ से पकड़ा गया। उन्होंने बताया कि इसे पकड़ना मुश्किल होता है,क्योंकि ये काफी हाई जंप मार सकता है। लेकिन इसमें जहर ना होने की वजह से ये खतरनाक नहीं है। ये ज्यादातर चिड़ियों के अंडे या बच्चे खाता है।
ब्रोंजबैक ट्री स्नेक-
इस आप की ख़ास बात यह है कि सांप की स्किन के नीचे नीली लकीरें हैं. जो रात में चमकती है. मेढक, छिपकली और कीड़े-मकोड़ों को अपनी ओर आकर्षित करने के लिए सांप इनका इस्तेमाल करता है. बहुत ही कम लोग सांप की चमकने वाली क्षमता के बारे में जानते हैं. सर्प विशेषज्ञ टी देवता कमाने तो ब्रोंजबैक ट्री स्नेक मानव आवासों के पास नहीं पाए जाते हैं. आम तौर पर ऊँचे पाहडाओं में ऊँचे पेड़ों में पाए जाते हैं.