वॉशिंगटन l ताइवान को लेकर अमेरिका और चीन के बीच तल्खियां बढ़ती जा रही हैं। कुछ दिनों पहले ही चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग और अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन ने शिखर वार्ता की थी। इस दौरान भी जिनपिंग ने सख्त लहजे में ताइवान को चीन में मिलाने की बाद दोहराई थी। वहीं, चीन कई बार अमेरिका को आग से न खेलने की चेतावनी दे चुका है। अब ताइवानी और अमेरिकी विशेषज्ञों ने चेतावनी दी है कि चीनी सेना अमेरिकी सैन्य बेस के कम्यूनिकेशन को ठप करने के लिए नए-नए तरीकों को तलाश रही है। एक्सपर्ट्स की इन चेतावनियों के बाद पूरी दुनिया की चिंता बढ़ गई है।
अमेरिकी सैन्य अड्डों का नेटवर्क जाम करने की तैयारी में चीन
अमेरिकी सैन्य विशेषज्ञ डेविड रनसीमन ने एक पॉडकास्ट में होस्ट सिंडी यू से कहा कि अमेरिकी ठिकानों पर कम्यूनिकेशन को जाम करने से सेना को काफी नुकसान हो सकता है। इतना ही नहीं, चीनी सेना और भी कई तरह से सैन्य कदम उठा सकती है। जिससे ताइवान के साथ जंग की सूरत में अमेरिका जवाबी कार्रवाई न कर सके। उदाहरण के लिए, चीन की पीपुल्स लिबरेशन आर्मी इस बात पर गौर कर रही है कि क्षेत्र में अमेरिकी ठिकानों से संचार तंत्र को कैसे रोका जाए।
जवाबी कार्रवाई तक नहीं कर पाएगी अमेरिकी सेना
उन्होंने बताया कि अगर चीनी सेना का हमला होता है तो कम्यूनिकेशन बंद होने के कारण अमेरिकी सेना जवाबी कार्रवाई नहीं कर पाएगी। ऐसे में अमेरिकी सैन्य बेस को हालात की जानकारी नहीं मिल पाएगी। जिससे किसी भी मिशन को संचालित करने में काफी मुश्किल आ सकती है। चीन के पास अमेरिकी सेना का गुआम नेवल बेस है। इसके अलावा अमेरिकी सेना के लंबी दूरी तक हमला करने वाले स्ट्रैटजिक बॉम्बर डियागो गार्सिया से भी ऑपरेट कर सकते हैं। दक्षिण कोरिया, जापान और ताइवान में भी अमेरिकी सैन्य ठिकाने हैं, जो चीन के काफी नजदीक हैं।
एशिया में घट रही अमेरिका की सैन्य ताकत
अमेरिका के पूर्व सहायक विदेश मंत्री डैनी रसेल ने कहा कि रिश्ते में तारों पर बहुत कम इन्सुलेशन बचा है। मतलब इससे पैदा हुई चिंगारी कभी भी बड़ी आग का रूप ले सकती है। बस एक छोटी सी हरकत से दोनों देशों के बीच भयानक युद्ध भड़क सकता है। चीनी सेना ने खुलकर ताइवान पर हमला करने और उसपर कब्जा करने की बाद को दोहराया है। अमेरिका ताइवान के ऊपर होने वाले किसी भी हमले को विफल करना चाहता है। लेकिन, वह जानता है कि एशिया में उसकी सैन्य शक्ति लगातार कमजोर हो रही है l
खबर इनपुट एजेंसी से