बिलासपुर. छत्तीसगढ़ के बिलासपुर में एसएसपी ऑफिस की महिला एएसआई के साथ मिलकर 59 लाख रुपए की ठगी करने वाले हेड कांस्टेबल को एसपी पारुल माथुर ने बर्खास्त कर दिया है. वहीं, महिला एएसआई को सस्पेंड कर दिया गया है. इस मामले में पुलिस ने 2 दिन पहले ही आरोपी हेड कांस्टेबल को गिरफ्तार किया था, जबकि महिला एएसआई फरार है. अब दोनों के खिलाफ विभागीय कार्रवाई की गई है.
मधुशिला सुरजाल एसपी ऑफिस में एएसआई (एम) के पद पर लंबे समय से फंड शाखा में काम कर रही थी. तभी उसने बेलगहना चौकी में पदस्थ हेड कांस्टेबल संजय श्रीवास्तव के साथ मिलकर जीपीएफ (गवर्नमेंट प्रोविडेंट फंड) की रकम में हेराफेरी करना शुरू कर दिया था. फाइलों की जांच के दौरान एसएसपी पारुल माथुर को जीपीएफ खातों की राशि में गड़बड़ी होने का पता चला था. इसके साथ ही रिकॉर्ड में कांट छांट भी मिले. इसके बाद उन्होंने संदेह होने पर महिला एएसआई सुरजाल को लाइन अटैच कर दिया था. साथ ही हेडक्वार्टर डीएसपी राजेश श्रीवास्तव को विभागीय जांच के निर्देश दिए.
जांच में खुला मामल
डीएसपी राजेश श्रीवास्तव ने जीपीएफ राशि और खातों की जांच की, तब पता चला कि महिला एएसआई ने 59 लाख रुपए का हेरफर किया है. जांच में यह भी पता चला कि इस गड़बड़ी में हेड कांस्टेबल संजय श्रीवास्तव भी शामिल है. महिला एएसआई ने बिना आवेदन जमा किए उसके खाते में 15 लाख 75 हजार रुपए जमा कर दिए थे. इसी तरह जीपीएफ खातों में जमा राशि से अधिक का भुगतान करने और राशि गबन करने की पुष्टि हुई.
ऐसे निकाले पैसे
जांच में पता चला कि जीपीएफ की राशि निकालने के लिए यदि कोई पुलिस कर्मचारी आवेदन देता तो उसमें कूटरचना कर महिला एएसआई मांगी गई राशि से अधिक रुपए फंड से निकालकर अपने खाते में जमा कर लेती थी. जांच रिपोर्ट के आधार पर SSP पारुल माथुर के निर्देश पर महिला एएसआई मधुशिला सुरजाल और हवलदार संजय श्रीवास्तव पर दो दिन पहले सिविल लाइन थाने में शासकीय राशि का गबन, धोखाधड़ी, कूटरचना, आपराधिक षडयंत्र करने के आरोप में धारा 409, 420, 467, 468, 471, 120 बी के तहत केस दर्ज किया गया था.
पोल खुलने से पहले जमा कराए पैसे
बताया जा रहा है कि महिला एएसआई मधुशिला सुरजाल और संजय श्रीवास्तव ने मिलकर एक करोड़ रुपए निकाल लिया था. जब विभागीय जांच शुरू हुई, तब पोल खुलने के डर से सुनियोजित तरीके से उन्होंने गबन की गई राशि जमा कर दी थी. कुछ रकम जमा होने के बाद पता चला कि 59 लाख रुपए का गबन पुलिस के खाते से किया गया है.