नई दिल्ली l सरकार ने देश में कोरोना वैक्सीन की संख्या बढ़ाने के लिए विदेशी टीकों को झटपट अनुमति देने की नीति अपनाई है। केंद्र ने आज कहा कि उन विदेशी कोविड वैक्सीन को भारत में आपातकालीन उपयोग की मंजूरी देने की प्रक्रिया तेज की जाएगी जिनका विदेशों में इस्तेमाल किया जा रहा है। ध्यान रहे कि ड्रग कंट्रोलर जनरल ऑफ इंडिया (DGCI) ने रूस में विकसित COVID-19 वैक्सीन स्पुतनिक V के आपातकालीन उपयोग को मंजूरी दे दी है। एक्सपर्ट कमिटी ने सोमवार को ही स्पूतनिक वी को भारत में आपात उपयोग की मंजूरी देने की सिफारिश की थी।
जल्द लगने लगेगी स्पूतनिक V की डोज
एक्सपर्ट्स की मानें तो इमर्जेंसी यूज की मंजूरी मिलने के बाद हफ्ते-डेढ़ हफ्ते के अंदर वैक्सीन डोज आम लोगों को लिए उपलब्ध हो जाती है। उनका कहना है कि अगर कुछ बड़ी बाधा नहीं हो तो मंजूर के 10 दिनों के अंदर ही वैक्सीन की खुराक दी जा सकती है। अभी देश में भारत बायोटेक और भारतीय आयुर्विज्ञान अनुसंधान परिषद के संयुक्त प्रयासों से विकसित कोवैक्सीन के अलावा ऑक्सफर्ड यूनिवर्सिटी एस्ट्राजेनेका की तरफ से विकसित कोविशील्ड की डोज दी जा रही है।
देश में करीब 11 करोड़ लोगों को लगा है टीका
कोविशील्ड का उत्पादन भारतीय कंपनी सीरम इंस्टिट्यूट ऑफ इंडिया (SII) ही कर रही है। कोवैक्सीन और कोविशील्ड, दोनों वैक्सीन दो खुराकों वाली है। इनकी पहली डोज लेने के कम-से-कम चार हफ्ते बाद दूसरी डोज दिए जाने का नियम है। भारत में अब तक कुल 10,85,33,085 लोगों को कोरोना वायरस की वैक्सीन लगाई जा चुकी है।