मनोज रौतेला की रिपोर्ट :
देहरादून : गंगोत्री से भाजपा विधायक रहे गोपाल रावत का गुरुवार को निधन हो गया। वे लंबे समय से कैंसर की बीमारी से जूझ रहे थे और देहरादून के एक अस्पताल में उपचार चल रहा था. अंतिम संस्कार शुक्रवार को उत्तरकाशी में होगा।कैंसर से ग्रसित चल रहे गंगोत्री विधायक गोपाल रावत ने गुरुवार को देहरादून के एक अस्पताल में अंतिम सांस ली। गोपाल रावत पिछले चार माह से कैंसर से जूझ रहे थे और मुंबई के एक अस्पताल से उपचार करवा रहे थे।शुरु में उन्हें कमर दर्द और पेट संबंधित शिकायत थी। गत तीन जनवरी को विधायक गोपाल रावत को मुंबई के एक अस्पताल में भर्ती कराया गया। जिसके बाद वे देहरादून लौटे और जांच व उपचार के लिए बीच-बीच में मुंबई आते-जाते रहे। इसी अप्रैल माह में उन्हें पीलिया की भी शिकायत हुई। जिसके बाद वे देहरादून के एक निजी अस्पताल में भर्ती हुए।
पिछले 20 दिनों से वे निजी अस्पताल में भर्ती थे। गुरुवार शाम को गोपाल रावत ने अंतिम सांस ली। उनका अंतिम संस्कार शुक्रवार को उत्तरकाशी में होगा। गोपाल रावत गंगोत्री विधानसभा सीट से भाजपा के टिकट पर दो बार विधायक रहे हैं। गोपाल रावत के निधन पर मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत, पूर्व मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत, भाजपा प्रदेश अध्यक्ष मदन कौशिक, टिहरी सांसद माला राज्यलक्षमी शाह, विधान सभा अध्यक्ष प्रेम चंद अग्रवाल ने दुख व्यक्त किया।
राज्यपाल बेबी रानी मौर्य और सीएम तीरथ सिंह रावत ने गंगोत्री से भाजपा विधायक गोपाल रावत के निधन पर गहरा शोक व्यक्त करते हुए इसे राज्य की अपूरणीय क्षति बताया है। राज्यपाल ने कहा कि दिवंगत विधायक रावत लोकप्रिय और संवेदनशील जनप्रतिनिधि थे। मुख्यमंत्री ने जोगीवाला स्थित अस्पताल जाकर दिवंगत विधायक की पार्थिव देह पर पुष्प अर्पित कर श्रद्धांजलि दी। साथ ही शोक संतप्त स्वजन के प्रति अपनी गहरी संवेदना व्यक्त की। मुख्यमंत्री ने कहा कि पार्टी हित और गंगोत्री क्षेत्र के विकास को किए गए कार्यों के लिए विधायक रावत हमेशा याद किए जाएंगे।इससे पहले मुख्यमंत्री कैंप कार्यालय में हुई मंत्री परिषद की अनौपचारिक बैठक में भी दो मिनट का मौन रखकर दिवंगत विधायक गोपाल रावत को श्रद्धांजलि दी गई।