दुबई: भारतीय टीम के दिग्गज हरफनमौला खिलाड़ी हार्दिक पंड्या ने बिना गेंद फेंके गेंदबाजी छोर पर बल्लेबाजों को रन आउट (मांकडिंग) करने का समर्थन किया है। उन्होंने कहा कि वह इस मामले में ‘खेल भावना की परवाह नहीं करते और बल्लेबाजों को क्रीज से ज्यादा आगे निकलने से बचना चाहिये। ‘मांडकिंग’ को एक समय खेल में ‘अनुचित’ माना जाता था लेकिन आईसीसी ने अब नियमों में बदलाव कर इसे रन आउट का वैध तरीका करार दिया है।
इस मामले में क्रिकेट जगत में खेल भावना को लेकर चर्चा जारी है। पाकिस्तान के खिलाफ टी20 विश्व कप (T20 World Cup) के शुरुआती मुकाबले में भारतीय टीम की जीत में गेंद और बल्ले से शानदार भूमिका निभाने वाले हार्दिक ने कहा कि व्यक्तिगत तौर पर मुझे इससे कोई परेशानी नहीं है। उन्होंने पाकिस्तान के खिलाफ मैच से पहले रिकॉर्ड किये गये ‘आईसीसी रिव्यू पोडकास्ट’ में कहा, ‘अगर मैं क्रीज से बाहर निकलता हूं और कोई मुझे रन आउट करता है तो यह मेरी गलती है। वह फायदे के लिए नियमों का सहारा ले रहा है और इसमें कुछ भी गलत नहीं है।’
यह मुद्दा उस समय तूल पकड़ा था जब भारतीय महिला टीम की खिलाड़ी दीप्ति शर्मा ने इंग्लैंड दौरे में श्रृंखला के तीसरे और आखिरी मैच में चार्ली डीन को गेंदबाजी छोर पर रन आउट किया था। पंड्या ने कहा,‘इसमें हमें किसी बहाने का सहारा लेने से बचना चाहिये। इसे समझना काफी सरल है कि यह नियमों का हिस्सा है। ऐसे में खेल भावना की परवाह नहीं करनी चाहिये।’
अपनी क्रिकेट महत्वाकांक्षाओं के बारे में पूछे जाने पर पंड्या ने कहा, ‘जब से मैंने चोट से वापसी की है तब से मैं अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करने की कोशिश कर रहा हूं। अगर मैं कुछ हासिल करना चाहता हूं, तो यह इस खेल में उत्कृष्टता है।’