देहरादून : दिल्ली-एनसीआर, यूपी सहित पड़ोसी राज्यों के पर्यटकों के लिए बड़ा अपडेट आया है। घर से निकलने से पहले अगर उन्होंने यह काम नहीं किया तो सड़काें पर रात गुजारनी पड़ सकती है। प्रशासन ने सख्ती दिखाते हुए यह नया नियम लागू कर दिया है। यही नहीं, इस नियम को नहीं मानने वाले लोगों को उत्तराखंड के इस शहर में एंट्री भी नहीं मिलेगी।
देश के अन्य राज्यों में तापमान बढ़ने के साथ ही भारी संख्या में लोग मैदानी शहरों से उत्तराखंड के पहाड़ों की ओर रुख करते है। दिल्ली-एनसीआर और यूपी के पर्यटकों की संख्या काफी अधिक होती है। पर्यटकों की भारी भीड़ की वजह से वीकेंड पर खासतौर से हाईवे सहित शहर के अंदर भारी जाम लग जाता है।
पर्यटकों की भीड़ को नियंत्रित करने के लिए नैनीताल प्रशासन ने प्लान बताया है। नैनीताल में प्रवेश को पर्यटन सीजन के दौरान होटल की बुकिंग जरूरी होगी। होटल भी वही मान्य होगा जिसका पर्यटन विभाग में पंजीकरण हो। हालांकि ये नियम कब से लागू होगा इसकी तारीख अभी तय नहीं की है। माना जा रहा है वीकेंड पर पर्यटकों की संख्या बढ़ते ही ये नियम लागू हो सकता है।
ऐसे में पर्यटकों की मुसीबत बढ़ने की आशंका है। इसके अलावा टू व्हीलर से नैनीताल आने वालों का भी प्रवेश पर पाबंदी रहेगी।
नैनीताल में बुधवार को डीएम धीराज गब्र्याल ने पर्यटन सीजन को लेकर पर्यटन कारोबारियों के साथ बैठक की। इस दौरान शहर में जाम, यातायात प्रबंधन, रूसी बाईपास में सुविधा समेत अन्य बिंदुओं पर चर्चा की गई।
डीएम ने शहर का भीतरी यातायात प्लान बनाने के साथ ही उसे प्रभावी रूप से लागू कराने के निर्देश दिए। साथ ही कहा कि रूसी बाईपास में अतिरिक्त शौचालय, पानी, बिजली की व्यवस्था कर ली जाए। पर्यटक वाहनों की सुरक्षा को लेकर सीसीटीवी कैमरे लगाए जाएं।
इसके लिए जिला पंचायत संबंधित ठेकेदार के साथ मिलकर स्थान का चयन करें। उन्होंने बाईपास मार्ग पर सोलर लाइट लगाने के निर्देश भी दिए। साथ ही शहर के भीतर जाम से निपटने को सड़क पर वाहन पार्क नहीं करवाने के निर्देश दिए। बताया कि शहर में ट्रैफिक प्लान पर विशेषतौर से फोकस किया गया है।
होटल पंजीकरण बन सकता है मुसीबत
जिला पर्यटन विकास अधिकारी विजेंद्र पांडे ने बताया कि शहर में 270 होटल और गेस्ट हाउस हैं, जबकि 80 पंजीकृत होम स्टे चल रहे हैं। धरातल पर कुल डेढ़ हजार से अधिक होटल संचालित हो रहे हैं। डीएम ने सभी गैर पंजीकृत होटलों से अपना रजिस्ट्रेशन कराने की अपील की है। होटल एसोसिएशन के अध्यक्ष दिग्विजय सिंह बिष्ट व महासचिव वेद साह ने भी सभी गैर पंजीकृत होटल संचालकों से अपील की है कि वह जल्द ही पर्यटन विभाग में अपना पंजीकरण करा लें।
एंट्री प्वाइंट पर पर्यटकों को सुविधाएं दे प्रशासन
पर्यटन कारोबारियों ने कहा एंट्री प्वाइंट पर पर्यटक वाहनों को रोक तो दिया जाता है, लेकिन वहां मूलभूत सुविधा नहीं होने से पर्यटकों को परेशानी उठानी पड़ती है। बैठक में एसएसपी पंकज भट्ट, सीएमओ डॉ.भागीरथी जोशी, एडीएम शिवचरण द्विवेदी, एसडीएम राहुल शाह आदि रहे।
ऐसे ढूंढें पंजीकृत होटल
इसके लिए पर्यटक को होटल बुकिंग करने से पहले होटल संचालक से उसका पंजीकरण नंबर मांगना होगा। उसके बाद https://uttarakhandtourism. gov.in/travel-trade-listing वेबसाइट पर जाकर उस पंजीकरण नंबर खोजना होगा। यदि बताया गया पंजीकरण नंबर नहीं दिखता तो उस होटल में बुकिंग न कराएं।
जिला पर्यटन विकास अधिकारी विजेंद्र पांडे के अनुसार पर्यटक को खुद ही पंजीकृत होटल की पहचान करनी होगी। इसके लिए वह बुकिंग करते हुए होटल स्वामी से उसका उत्तराखंड पर्यटन बोर्ड में होटल पंजीकरण नंबर जरूर मांगे। इसके बाद उसे उत्तराखंड पर्यटन बोर्ड की वेबसाइट पर जाकर देखें।