मुजफ्फरपुर : बिहार के मुजफ्फरपुर जिले में आईपीएस अफसर की फर्जी आईडी से मैसेज भेजकर जेडीयू नेता से ठगी का मामला सामने आया है। बेतिया डीआईजी जयंतकांत के नाम और फोटो लगी आईडी का इस्तेमाल कर साइबर शातिर मैसेंजर से लोगों को संदेश भेजकर साइबर ठगी कर रहे हैं। आईपीएस का मैसेज देखकर जेडीयू के कटरा प्रखंड अध्यक्ष बेचन महतो झांसे में आ गए। उनसे ठगों ने 80 हजार रुपये का ऑनलाइन फ्रॉड कर लिया। महतो ने मुजफ्फरपुर जिले के कटरा थाने में एफआईआर दर्ज कराई है।
उन्होंने बताया कि कई अनय् लगोों से भी इसी तरह ठगी हुई है। जेडीयू नेता बेचन महतो औराईके राजखंड के रहने वाले हैं। उन्होंने कहा कि बीते 24 दिसंबर को उन्हें आईपीएस जयंतकांत की फोटो लगी आईडी से मैसेज आया था। मैसेज भेजने वाले ने पहले उनका हालचाल पूछा फिर मोबाइल नंबर मांगा। जेडीयू नेता ने मैसेज में अपना मोबाइल नंबर बताया।
इसके बाद उन्हें मैसेज आया कि सीआरपीएफ में उनके मित्र अफसर हैं, जिनका ट्रांसफर जम्मू-कश्मीर हो गया है। उन्हें अपना फर्नीचर तुरंत बेचना है। वे तुम्हें कॉल करेंगे। उनका फर्नीचर सस्ते में मिल जाएगा।
बेचन महतो ने को 25 दिसंबर को संतोष कुमार नाम के शख्स ने संपर्क किया, उसने खुद को सीआरपीएफ का अधिकारी बताया और बात की। उसने कहा कि जयंतकांत उसका दोस्त है और फिर व्हाट्सएप पर फर्नीचर का फोटो भेजकर 95 हजार रुपये कीमत लगाई। उसने कहा कि पैसे मिलने के बाद सीआरपीएफ कैंप से ट्रक के जरिए सामान की होम डिलीवरी कर दी जाएगी।
जेडीयू नेता ने फर्नीचर का दाम 60 हजार बताया और डील फाइनल हो गई। ठग ने व्हाट्सएप पर स्कैनर भेजा। उस पर अलग-अलग यूपीआई आईडी से जेडीयू नेता ने 60 हजार रुपये भेज दिए। इसके बाद ठग ने कहा कि ट्रक के चालान का 21,750 रुपये अलग से चार्ज लगेगा। जेडीयू नेता को संदेह हुआ तो जयंतकांत वाली आईडी से उन्हें एक मैसेज भेजा गया। इसमें लिखा कि घबराओ मत सिक्योरिटी चार्जेज भेज दो। जेडीयू नेता बेचन महतो झांसे में आ गए और 21 हजार रुपये और डाल दिए। इसके बाद सामने वाले का मोबाइल फोन बंद हो गया। फिर उन्हें ठगी का एहसास हुआ। पुलिस की साइबर सेल इस मामले की जांच कर रही है।