नई दिल्ली. पिछले कुछ सालों में भारत में ऑनलाइन फ्रॉड (Online Fraud) के मामले तेजी से बढ़ रहे हैं. बहुत से ऐसे गिरोह सक्रिय हैं, जो आपको अपना शिकार बना सकते हैं और आपके डेटा के साथ-साथ आपके खाते से पैसे भी चुरा सकते हैं. ऐसा ही मुंबई के एक शख्स के साथ हुआ जब उसने फास्टैग से रिफंड के चक्कर में अपने खाते से 1.20 लाख रुपये गंवा दिए.
पुलिस के अनुसार दक्षिण मुंबई के एक व्यापारी ने फॉस्टैग (FASTag) खाते में गलती से ज्यादा पैसे भेज दिए थे. पैसे वापस पाने के लिए उसने इंटरनेट से कंपनी का कस्टमर केयर नंबर लेकर बात की. असल में वह नंबर कस्टमर केयर का नहीं बल्कि ठगों का था. ठगों ने रिफंड का झांसा देकर उसका मोबाइल हैक कर लिया और खाते से पैसे निकाल लिए.
इंटरनेट से नंबर लेना पड़ा महंगा
मुंबई के एमआरए मार्ग पुलिस स्टेशन में लिखवाई शिकायत में इलेक्ट्रिक सामान बेचने वाले शख्स ने बताया कि उसे गुजरात जाना था. इसलिए उसे अपनी कार के फॉस्टटैग खाते (FASTag Account) में पैसे डालने थे. उसने गलती से फॉस्टटैग अकाउंट में 1,500 रुपये की जगह 15,000 रुपये डाल दिए. ज्यादा डाले गए पैसे वापस पाने के लिए उसने इंटरनेट पर फॉस्टटैग का कस्टमर केयर सर्च किया. उसे वहां एक नंबर मिला.
उस नंबर पर कॉल करने पर फोन उठाने वाले व्यक्ति ने खुद को फॉस्टटैग का कर्मचारी बताया और पैसे वापस करने में सहायता करने का वादा किया. उसने फॉस्टटैग यूजर को उसके फोन में एक ऐप डाउनलोड करने को कहा. ऐप डाउनलोड करने के बाद पीडि़त व्यक्ति को कुछ राशि रिफंड पाने के लिए देने को कहा गया. ऐसा करने के बाद उसके खाते से पैसे निकलने शुरू हो गए. हैकर्स ने पीडि़त के खाते से 1.20 लाख रुपये निकाल लिए.
आप भी रहें सावधान
ऑनलाइन फ्रॉड की बढ़ती घटनाओं को देखते हुए अब हर किसी को बहुत ज्यादा सतर्क रहने की जरूरत है. अगर कभी भी किसी भी कंपनी या ऐप के कस्टमर केयर नंबर की जरूरत पड़े तो उसे उस कंपनी की ऑफिशियल वेबसाइट से ही लेना चाहिए. जहां से आप नंबर ले रहें हैं, उस वेबसाइट की पूरी जांच कर लें. हो ये रहा है कि फ्रॉड करने वाले अकसर मिलते जुलते नामों से वेबसाइट बनाकर लोगों को झांसे में लेते हैं. इसके अलावा किसी भी अनजान व्यक्ति को अपनी निजी जानकारियां नहीं देनी चाहिए. साथ ही किसी अनजान व्यक्ति के कहने पर कोई ऐप अपने फोन या लैपटॉप में डाउनलोड न करें.