मनोज रौतेला की रिपोर्ट :
टिहरी: महात्मा गाँधी जी ने कहा था भारत गाँवों में बसता है.एक तरफ शहरों में कर्फ्यू है,कोरोना है, बीमारी है,तनाव है,घर-प्लाट लेने-बेचने की मुसलसल गला-काट प्रतियोगिता जैसी लगी हुई है, वहीँ लोस्तु-बडियार गढ़ के नौगाड गांव में आज नौ दिवसीय मां भगवती के जागरण पाठ के अवसर पर 3 दिवसीय खेल महोत्सव में वॉलीबॉल प्रतियोगिता एवं एयर गन शूटिंग प्रतियोगिता के साथ कीर्तन प्रतियोगिता के प्रथम चरण का आयोजन किया गया।
सबसे बड़ी बात तुलना कीजिये इस समय मैदानी जिलों में कर्फ्यू है, लोग घर में दुबके बैठे हैं, वहीँ टिहरी जिले के इस गाँव में लोग उमंग में हैं, ख़ुशी-ख़ुशी मेले में शिरकत कर रहे हैं और खेल खेल रहे हैं,भजन,कीर्तन कर रहे हैं.इसे कहते हैं जिंदगी. पलायन करने वालों के लिए यह समय चिंतन का विषय है. इससे पता चलता है गांव का महत्त्व क्या होता है. पैगाम शानदार और स्टीक है.खुशनसीब हैं वो जो पर्वतीय आँचल में जन्मे हैं.देवभूमि में जन्मे हैं…वरना पैसे खर्च कर के टूरिस्ट बन कर पर्वतीय इलाका देखने आना पड़ता है लोगों को.
गाँव में 3 दिवसीय खेल प्रतियोगिता के आयोजक व् सामाजिक कार्यकर्ता उत्तम सिंह असवाल ने बताया कि क्षेत्र में क्षेत्रीय प्रतिभाओं की प्रतिभा निखारने के लिए एवं उन्हें मंच प्रदान करने हेतु क्षेत्र में पहली बार एयर गन शूटिंग प्रतियोगिता की गयी है. अब देखिये सोच इस गाँव के लोगों की और उत्तम असवाल की शूटिंग जैसा महँगा खेल इस गाँव में हो रहा है और कल को कोई न कोई खिलाड़ी भी निकलेगा इसी पर्वतीय गाँव से जो देश के लिए भी खेल सकता है.वहीँ, कीर्तन प्रतियोगिता, कैरम प्रतियोगिता, शतरंज प्रतियोगिता के साथ क्षेत्रीय वॉलीबॉल प्रतियोगिता का आयोजन किया गया है. मतलब साफ़ है खेल खेलोगे तो स्वस्थ रहोगे. ग्रामीण क्षेत्र में प्रतिभा की कमी नहीं है.
चंद रोज पहले केंद्रीय खेल मंत्री किरेन रिजीजू ने भी कहा था टिहरी दौरे के दौरान उत्तराखंड का खिलाड़ी ओलिम्पिक पदक ला सकता है. तीन दिवसीय कार्यक्रम का आज दूसरे दिन कीर्तन प्रतियोगिता के प्रथम चरण के साथ एयर गन शूटिंग प्रतियोगिता व वॉलीबॉल प्रतियोगिता संपन्न हुई।जिसमें महिलाओं ने भी भाग लिया. शूटिंग में वॉलीबॉल प्रतियोगिता में 6 टीमों ने प्रतिभाग किया वहीँ एयर गन शूटिंग प्रतियोगिता में 22 पुरूष व 6 बालिकाओं ने प्रतिभाग किया।
खेल के बारे में जानकारी होना बहुत जरुरी है.वही प्लैटफॉर्म उत्तम असवाल ने दिलाया है यहाँ पर. ताकि कल को खिलाड़ी बन सकें गाँव के युवा.
वहीँ फाइनल मुकाबले कल खेले जाएंगे।पर्वतीय आँचल में बसा यह गाँव आज अलग सन्देश दे रहा है. जब देश में हाहाकार मची हुई है कोरोना को लेकर उस समय इस तरफ से आयोजन होना कबीले तारीफ का काम है. इस अवसर पर उत्तम सिंह असवाल के अलावा दीवान सिंह मेवाड़, राकेश सिंह मेवाड़, शिव प्रसाद गैरोला, हनुमंत भंडारी, त्रिलोक सिंह मेवाड़, जिला पंचायत सदस्य अमित मेवाड़ आदि कई गणमान्य व्यक्ति उपस्थित रहे।