देहरादून। उत्तराखंड में अब शिक्षा की तस्वीर बदलने जा रही है। ताला लगे स्कूलों और खस्ताहाल स्कूलों को अब स्मार्ट शाला बनाया जाएगा। प्रदेश के 3700 राजकीय प्राथमिक एवं उच्च प्राथमिक विद्यालयों में स्मार्ट शाला स्थापित की जाएंगी। गैर सरकारी संगठन संपर्क फाउंडेशन की पहल पर इन चयनित विद्यालयों में स्मार्ट टीवी व उपकरण और विभिन्न शिक्षण सामग्री उपलब्ध कराई जाएगी।
इसके अतिरिक्त संस्था की ओर से विकसित ‘संपर्क दीदी’ चैटबाट के माध्यम से शिक्षकों से समन्वय स्थापित कर शैक्षिक गतिविधियों को भी आसान बनाया जा सकेगा। इस योजना को मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी एवं विद्यालयी शिक्षा मंत्री डा धन सिंह रावत शुरु करेंगे।
स्मार्ट स्कूल में बदलेंगे प्राथमिक विद्यालय
प्राथमिक शिक्षा में गुणात्मक सुधार लाने के दृष्टिगत राज्य सरकार लगातार प्रयास कर रही है। इसी कड़ी में संपर्क फाउंडेशन की पहल पर प्रदेश के 3700 राजकीय प्राथमिक एवं उच्च प्राथमिक विद्यालयों में ‘संपर्क स्मार्क शाल’ स्थापित किए जाएंगे, ताकि इन्हें स्मार्ट स्कूल में परिवर्तित किया जा सके।
इन स्कूलों का हुआ है चयन
इस योजना में 2700 प्राथमिक एवं 1000 उच्च प्राथमिक विद्यालयों का चयन किया गया है। इनमें अल्मोड़ा जिले के 16, बागेश्वर के 35, चमोली के 20, चंपावत के 78, देहरादून के 217, हरिद्वार के 171 विद्यालय हैं। नैनीताल के 96, पौड़ी के 37, पिथौरागढ़ के 12, रुद्रप्रयाग के 48, टिहरी के 13, ऊधमसिंह नगर 190 तथा उत्तरकाशी के 67 उच्च प्राथमिक विद्यालय शामिल हैं।
शिक्षा मंत्री डा धन सिंह रावत ने की पहल
विद्यालयी शिक्षा मंत्री डा धन सिंह रावत ने कहा कि प्रदेश सरकार संसाधन, तकनीकी व नवाचार के समन्वय से शिक्षा व्यवस्था का कायाकल्प करने में जुटी है। प्राथमिक स्तर पर बच्चों को तकनीकी आधारित खेल-खेल में शिक्षा उपलब्ध कराना तथा उन्हें रचनात्मकता से जोड़ने को संपर्क फाउंडेशन आगे आया है।