नई दिल्ली: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज शनिवार को स्वामित्व योजना के तहत वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिये 65 लाख स्वामित्व संपत्ति कार्डों का वितरण किया। इस कार्यक्रम में 12 राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों के 50,000 से अधिक गांव शामिल हुए। पीएम मोदी ने बताया कि बीते पांच सालों में करीब डेढ़ करोड़ लोगों को संपत्ति कार्ड सौंपें जा चुके हैं। प्रधानमंत्री ने कहा कि यह दिन ग्रामीण भारत और वहां की अर्थव्यवस्था के लिए महत्वपूर्ण है। स्वामित्व योजना जो अप्रैल 2020 में शुरू हुई थी का मुख्य उद्देश्य गांवों में रहने वाले लोगों को उनकी संपत्तियों का कानूनी अधिकार देना है।
पीएम मोदी ने बताया कि संपत्ति कार्ड के जरिए लोगों को उनकी जमीन और घर का कानूनी प्रमाण मिलता है। इससे न केवल ग्रामीण क्षेत्रों में विकास को बढ़ावा मिलता है बल्कि प्रॉपर्टी के अधिकार मिलने से गरीबी कम करने में भी मदद मिलती है। उन्होंने यह भी कहा कि दुनिया भर में संपत्ति अधिकार की कमी एक बड़ी समस्या है, और इसे हल करना आर्थिक विकास के लिए जरूरी है।
प्रधानमंत्री ने जलवायु परिवर्तन, पानी की कमी और स्वास्थ्य संकट जैसी वैश्विक चुनौतियों का भी जिक्र किया। उन्होंने कहा कि प्रॉपर्टी राइट्स (संपत्ति के अधिकार) इन समस्याओं को हल करने और गरीबी को कम करने में अहम भूमिका निभाते हैं। स्वामित्व योजना के तहत गांवों की जमीनों का आधुनिक तकनीक से सर्वेक्षण और मैपिंग की जाती है, जिससे लोगों को उनकी संपत्तियों का कानूनी प्रमाण मिलता है। इस योजना के जरिए ग्रामीण भारत में पारदर्शिता और सशक्तिकरण को बढ़ावा दिया जा रहा है।