पटनाः बिहार में राजनीतिक ऊंट किस करवट बैठेगा ये तब तय होगा, जब ऊंट बैठेगा. क्योंकि ये राजनीतिक ऊंट बैठ ही नहीं रहा है, वो बस चल रहा है. क्योंकि बिहार में चलने का चलन हो गया है. यानी कि पिछले कुछ समय से बिहार में यात्रा पॉलिटिक्स जोर पर है. हर कोई अपनी एक यात्रा निकाल रहा है. पहले राजनीति के रणनीतिकार और अब जन सुराज पार्टी के स्वर्णकार यानी कि प्रशांत किशोर ने अपनी एक यात्रा निकाली. इसके बाद तेजस्वी ने यात्रा निकाली और अब बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार यात्रा निकालने जा रहे हैं.
नीतीश कुमार की महिला संवाद यात्रा
दरअसल, नीतीश कुमार एक नई यात्रा निकालने वाले हैं, जिसे नाम दिया गया है, महिला संवाद यात्रा. उनकी नयी यात्रा पर राजनीति भी जोरों पर हैं. नीतीश की यात्रा पर तेजस्वी और लालू के अलावा प्रशांत किशोर ने प्रतिक्रिया दी है. उन्होंने कहा कि पिछली यात्राओं से कुछ नहीं हुआ तो इस बार भी कोई फायदा नहीं होगा. बेरोजगारी, गरीबी, पलायन, शिक्षा, स्वास्थ्य जैसी समस्याओं को कोई समाधान नहीं निकला.
इसके अलावा प्रशांत किशोर ने कहा कि नीतीश कुमार ने समाधान यात्रा की थी, लेकिन उससे बिहार के लोगों की समस्याओं का कितना समाधान हुआ? उन्होंने आगे कहा कि नीतीश कुमार और लालू यादव ने जनता का सबसे अधिक विश्वास तोड़ा.
PK की जन सुराज पदयात्रा
प्रशांत किशोर ने जन सुराज पद यात्रा की. इस दौरान बिहार के सभी जिलों के अधिकांश गांवों तक पहुंचे. बता दें कि पीके की इस यात्रा की शुरुआत साल 2022 में हुई थी. 2 अक्टूबर 2022 को महात्मा गांधी की जयंती के अवसर पर बिहार में जन सुराज पदयात्रा की शुरुआत गांधी आश्रम भितरिहवा से की थी. लेकिन साल 2023 में 15 मई को स्वास्थ्य कारणों से यात्रा को कुछ दिनों के लिए इस वादे को स्थगित कर दिया था. तब तक वह 7 जिलों में 2800 किलोमीटर की यात्रा की थी.
तेजस्वी की कार्यकर्ता दर्शन यात्रा
तेजस्वी यादव भी यात्रा पॉलिटिक्स में दो कदम आगे ही हैं. नीतीश कुमार की यात्रा को बेकार बताने वाले तेजस्वी यादव खुद एक यात्रा करने वाले हैं. तेजस्वी यादव अपनी इस यात्रा के चौथे चरण का ऐलान कर चुके हैं. वह 15 दिसंबर से कार्यकर्ता दर्शन यात्रा करेंगे. चौथे चरण की यात्रा 22 दिसंबर तक चलेगी. इसके पहले तीसरे चरण की यात्रा के दौरान झारखंड विधानसभा चुनाव और बिहार में चार विधानसभा सीटों के उपचुनाव की घोषणा होने के चलते जमुई में यात्रा स्थगित कर दी गई थी. तेजस्वी की यात्रा के चौथे चरण का आगाज मिथिला से होगा.