मुंबई l नए जमाने के अपराध से निपटने के लिए नए तरीकों का इस्तेमाल होना चाहिए। इसी बात को ध्यान में रखते हुए अब रेलवे भी अपराध पर नकेल कसने के लिए हाईटेक हो रही है। पश्चिम रेलवे चर्चगेट से विरार के बीच रेलवे स्टेशनों पर 470 ऐसे कैमरा फिट किए गए हैं, जिनमें अपराधी की चाल और चेहरा पढ़ने की क्षमता होगी। इन सभी 470 कैमरों को रशियन कंपनी से खरीदा गया है।
कैसे करेंगे काम
यदि किसी अपराधी के विडियो फुटेज, उसके हाव-भाव के साथ कंट्रोल रूम के क्राइम रिकॉर्ड में विडियो डाटा के रूप में दर्ज हैं, तो हर बार उस अपराधी की शिनाख्त करने में ये कैमरे कामयाब होंगे। चाहे कितनी भी भीड़ हो, चेहरा पढ़ने या पहचानने की क्षमता के कारण इन कैमरों से कोई चूक नहीं होगी। जब भी रिकॉर्ड मैच होगा, कंट्रोल रूम को अलर्ट मिलता रहेगा।
भीड़ या त्योहार में आएगा काम
पश्चिम रेलवे के एक आला अधिकारी ने बताया कि त्योहारों के दौरान या भीड़ का फायदा उठाकर कई बार मोबाइल झपटने, पॉकेट मारने जैसे अपराध होते हैं। इन्हें अंजाम देने वाले लोग भी निश्चित गैंग के होते हैं। अब ऐसे लोगों के रिकॉर्ड डाटा दर्ज किए जा रहे हैं। इनके द्वारा भविष्य में किसी भी तरह की हलचल होने पर कंट्रोल रूम अलर्ट हो जाएगा। इसके लिए विशेष कंट्रोल रूम या केंद्र मुंबई सेन्ट्रल में तैयार हो रहा है। इस यूनिट के लिए करीब ₹5 करोड़ खर्च होंगे। कंट्रोल रूम से जुड़े एक अधिकारी ने बताया कि इन कैमरों में एक साथ 50 चेहरे पहचानने की क्षमता है।
कुल 2600 हाई टेक कैमरे
पश्चिम रेलवे के मुंबई डिविजन में करीब 2600 हाई टेक कैमरे लगे हैं। 470 रशियन कैमरों के अलावा अन्य कैमरों में भी कई एंगल से विडियोग्राफी करने की क्षमता है।
खबर इनपुट एजेंसी से