मनोज रौतेला की रिपोर्ट:
ऋषिकेश : पूर्व केंद्रीय राज्य मंत्री व् भाजपा के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष बची सिंह रावत (बच दा) नहीं रहे. एम्स ऋषिकेश में रविवार रात अंतिम सांस ली उन्होंने. बच दा की शनिवार को तबीयत बिगड़ गई थी। उन्हें हेलिकॉप्टर से हल्द्वानी उनके निवास स्थान से ऋषिकेश एम्स इलाज के लिए भेजा गया था. दो दिन पहले फेफड़े संबंधी परेशानी होने पर उन्हें एक निजी अस्पताल में भर्ती कराया था। भाजपा प्रदेश प्रवक्ता प्रकाश रावत ने बताया कि तबीयत ज्यादा खराब होने पर बची सिंह रावत को दोपहर करीब पौने दो बजे हेलिकॉप्टर से एम्स भेजा गया था. बच दा के जाने से भाजपा ने बरिष्ठ नेता खो दिया है. वे पूर्व रक्षा राज्य मंत्री भी रहे थे और केंद्रीय विज्ञान और प्रौद्योगिकी मंत्री राज्य मंत्री भी थे रहे थे पूर्ववर्ती सरकारों में. वर्तमान में वे हल्द्वानी में परिवार के साथ रहे थे. उनका जन्म 1 अगस्त 1949 को अल्मोड़ा जिले के रानीखेत क्षेत्र के पाली गाँव में हुआ था. उन्होंने कानून की शिक्षा के साथ साथ अर्थशास्त्र में पोस्ट ग्रेजुएट किया था. वे धर्मपत्नी चम्पा रावत और पुत्र शशांक रावत को छोड़ कर गए हैं. रावत की कोरोना रिपोर्ट निगेटिव आयी है. हल्द्वानी में अंतिम संस्कार होगा.उनके बेटे शशांक और पत्नी चम्पा रावत उनके साथ ही आयी थी एम्स ऋषिकेश.
बच दा का राजनीतिक जीवन:
बच दा 1992 में पहली बार वह उत्तर प्रदेश विधानसभा के सदस्य चुने गए और 1993 में दोबारा विधायक का चुनाव लड़ा और जीत के आए अगस्त 1992 में 4 महीने के लिए उत्तर प्रदेश सरकार में राजस्व मंत्री बनाए गए 1996 में लोकसभा चुनाव जीतकर सांसद बने और राष्ट्रीय राजनीति में कदम रखा 1996 से 1997 तक संसद की कई कमेटी के सदस्य रहे 1998 में दोबारा लोकसभा चुनाव कराए 1998 से 99 तक फिर महत्वपूर्ण कमेटियों के जैसे सूचना प्रसारण मंत्रालय के सलाहकार रहे. 1999 में दोबारा लोकसभा चुनाव हुए और तीसरी बार रिकॉर्ड मार्जिन से सांसद चुनकर आए. 1999 में पहली बार केंद्र सरकार में रक्षा राज्य मंत्री का पद संभाला और फिर 1999 से 2004 तक निरंतर विज्ञान और तकनीकी केंद्रीय राज्य मंत्री रहे. 2004 से 2006 में फिर से लोकसभा सांसद बने लेकिन इस बार विपक्ष में बैठना पड़ा. 2007 चुनाव में पार्टी अध्यक्ष बने प्रदेश के और पार्टी को विधानसभा चुनाव में बहुमत दिलवाया और 2009 तक इस पद पर बने रहे।
Statement By Aiims:
“पूर्व मंत्री बच्ची सिंह रावत जी को हेली एम्बुलेंस के माध्यम से हल्द्वानी से एम्स ऋषिकेश लाया गया था। यहां उनकी कोविड रिपोर्ट पॉजिटिव आई थी। एम्स के जनसंपर्क अधिकारी हरीश मोहन थपलियाल जी ने बताया कि वह फेफड़ों में संक्रमण से ग्रसित थे। एम्स आईपीडी में संस्थान के पल्मोनरी मेडिसिन व जनरल मेडिसिन विभाग के चिकित्सकों द्वारा उनका उपचार किया जा रहा था। जहां इलाज के दौरान उन्हें दिल का दौरा पड़ा । चिकित्सको ने उन्हें सीपीआर दिया किन्तु रात 8.47 बजे उन्हें मृत घोषित कर दिया गया। मृत्यु के बाद उनका कोविड सैंपल लिया है, जिसकी सुबह तक रिपोर्ट प्राप्त हो जाएगी”
बच दा की खास बातें थी :
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उत्तर प्रदेश से दो बार विधायक की लेकिन उत्तराखंड विधानसभा चुनाव कभी नहीं लड़ा
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उत्तराखंड से एक ही सीट से लगातार चार बार सांसद बनने का रिकॉर्ड है
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2012 उत्तराखंड चुनाव में भाजपा प्लानिंग कमेटी के चेयरमैन रहे और मेनिफेस्टो बनाने में अहम भूमिका निभाई
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15वें लोकसभा चुनाव में नैनीताल को सीट बनाना पड़ा क्योंकि अल्मोड़ा सीट आरक्षित हो गई थी उस समय
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और 2014 में पार्टी से नाराज होकर सभी पदों से इस्तीफा भी दे दिया था परंतु बाद में भारतीय जनता पार्टी में वापस आये और
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वर्तमान में राज्य में संगठन स्तर पर कार्यरत थे
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बच दा बेहद सौम्य और सरल व्यक्ति के तौर पर जाने जाते थे वही उनके निधन से मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत ने भी गहरी संवेदना और दुख व्यक्त किया है.