नई दिल्ली: भारतीय जनता पार्टी (BJP) के वरिष्ठ नेता शिवराज सिंह चौहान ने मंगलवार को कहा कि उन्हें आगामी लोकसभा चुनाव से पहले संशोधित नागरिकता कानून (CAA) लागू हो जाने का भरोसा है। मध्य प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री ने जोर देकर कहा कि कुछ विपक्षी दलों के दावों के विपरीत सीएए का उद्देश्य नागरिकता रद्द करने के बजाय नागरिकता देना है। चौहान ने कहा, ‘‘मुझे विश्वास है कि लोकसभा चुनाव से पहले सीएए लागू हो जाएगा। इस कानून की बहुत आवश्यकता है। यह बार-बार स्पष्ट किया गया है कि यह कानून किसी के खिलाफ नहीं है, बल्कि यह पड़ोसी देशों के उन भाइयों और बहनों को नागरिकता देने के लिए है जो धार्मिक उत्पीड़न के कारण देश छोड़कर भागने को मजबूर हुए थे।’’
शिवराज ने ऐसे समय में यह बयान दिया है जब इस महीने की शुरुआत में इस प्रकार की खबरें आई थीं कि इस कानून के नियमों को लोकसभा चुनावों की घोषणा से पहले अधिसूचित किया जाएगा। भाजपा के नेतृत्व वाली सरकार द्वारा 2029 में अधिनियमित सीएए का उद्देश्य उत्पीड़न का शिकार हुए बांग्लादेश, पाकिस्तान और अफगानिस्तान के हिंदू, सिख, जैन, बौद्ध, पारसी और ईसाई समुदायों सहित उन गैर-मुस्लिम प्रवासियों को भारतीय नागरिकता प्रदान करना है, जो 31 दिसंबर,2014 से पहले भारत आए थे। विवादास्पद सीएए को लागू करने का वादा पिछले लोकसभा चुनाव और पश्चिम बंगाल में विधानसभा चुनावों में भाजपा के लिए एक प्रमुख चुनावी मुद्दा था। पार्टी नेताओं का मानना है कि इसने राज्य में भाजपा के उदय में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।
चौहान को पश्चिम बंगाल में हावड़ा क्लस्टर-जिले की दो लोकसभा सीटों के संगठन की निगरानी का काम सौंपा गया है। उन्होंने राज्य से 35 लोकसभा सीट जीतने के लक्ष्य को हासिल करने का विश्वास जताया। चौहान ने आरोप लगाया, ‘‘बंगाल में ‘कट, कमीशन और भ्रष्टाचार’ का राज चल रहा है और राज्य की जनता TMC (तृणमूल कांग्रेस) के कुशासन से तंग आ चुकी है। पिछली बार हमने 18 सीट जीती थीं। इस बार हमें राज्य से 35 से अधिक सीट पर जीत का भरोसा है।’’
पिछले लोकसभा चुनाव में तृणमूल ने राज्य से 22 सीट, कांग्रेस ने दो सीट और भाजपा ने 18 सीट हासिल की थीं। चौहान ने संदेशखालि में अशांति को लेकर राज्य सरकार पर निशाना साधते हुए कहा, ‘‘संदेशखालि में हुए खुलासे रोंगटे खड़े कर देने वाले हैं। राज्य सरकार ने ऐसी चीजें होने दीं।’’ संदेशखालि में लगातार छठे दिन भी विरोध प्रदर्शन जारी है। वहां तृणमूल कांग्रेस नेता शेख शाहजहां और उनके कथित गिरोह की गिरफ्तारी की मांग को लेकर बड़ी संख्या में महिलाएं सड़कों पर प्रदर्शन कर रही हैं। आरोपों में जमीन पर जबरदस्ती कब्जा करना और महिलाओं का यौन उत्पीड़न करना शामिल है।