नई दिल्ली : डिजिटल पेमेंट में भारत लगातार नई बुलंदिया छूता जा रहा है। कम वर्षों के अंतराल में ही भारत का ‘‘यूनिफाइड पेमेंट इंटरफेस’’ (यूपीआइ) दुनिया भर में छा गया है। अब फ्रांस में भी यूपीआइ से लेन-देन करना संभव हो गया है। यह नए भारत की नई आर्थिक ताकत का प्रमाण है। फ्रांस दौरे पर गए प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने बृहस्पतिवार को कहा कि भुगतान प्रणाली ‘‘यूनिफाइड पेमेंट इंटरफेस’’ (यूपीआइ) के इस्तेमाल को लेकर भारत और फ्रांस के बीच सहमति बनी है, जिसके परिणामस्वरूप अब यहां इसका उपयोग किया जा सकेगा और भारतीय नवाचार के लिए एक बड़ा बाजार खुलेगा।
पीएम मोदी ने यहां एक कला केंद्र में भारतीय समुदाय के लोगों को संबोधित करते हुए यह बात कही। उन्होंने कहा कि बहुत जल्द ही भारतीय पर्यटक एफिल टॉवर के पास यूपीआई का उपयोग कर रुपये में भुगतान कर सकेंगे। प्रधानमंत्री मोदी ने कहा, ‘‘ भारत की यूपीआई भुगतान प्रणाली के इस्तेमाल को लेकर फ्रांस के साथ एक समझौता हुआ है। इसकी शुरुआत एफिल टावर से की जाएगी और अब भारतीय पर्यटक एफिल टावर में यूपीआई प्रणाली के जरिए रुपये में भुगतान कर सकेंगे।’’ वर्ष 2022 में यूपीआई सेवाएं प्रदान करने वाली प्रमुख संस्था नेशनल पेमेंट्स कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया (एनपीसीआई) ने फ्रांस की तेज और सुरक्षित ऑनलाइन भुगतान प्रणाली ‘लायरा’ के साथ एक समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किए थे। ‘
मोदी-मोदी और भारत मां के जयकारों की गूंज
मोदी, मोदी’ और ‘भारत माता की जय’ के नारों के बीच, प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि कुछ हफ्तों या महीनों में फ्रांस में महान तमिल दार्शनिक तिरुवल्लुवर की एक प्रतिमा स्थापित की जाएगी। मोदी ने कहा कि फ्रांस ने स्नातकोत्तर की पढ़ाई करने वाले छात्रों के लिए दीर्घकालिक पांच साल का वीजा देने का फैसला किया है। प्रधानमंत्री ने भारतीय समुदाय के लोगों से भारत में बड़े पैमाने पर निवेश करने की भी अपील की। उन्होंने कहा कि भारत एक विकसित राष्ट्र के रूप में उभरने के लिए तेजी से प्रगति कर रहा है। मोदी ने कहा, ‘‘ आज प्रत्येक रेटिंग एजेंसी कह रही है कि भारत एक उज्ज्वल स्थान है। अब आप भारत में निवेश करें। यही उपयुक्त समय है। जो लोग जल्दी निवेश करेंगे, उन्हें उसका लाभ मिलेगा।
फ्रांस से संबंधों को लेकर पीएम ने बताया ये किस्सा
’’ मोदी ने फ्रांस के साथ कम से कम चार दशक पुराने अपने व्यक्तिगत संबंधों को भी याद किया जब वह 1981 में अहमदाबाद में ‘‘एलायंस फ्रैंकेइस सेंटर’’ के पहले सदस्य बने थे। प्रधानमंत्री ने कहा, ‘‘ फ्रांस से मेरा लगाव काफी पुराना है, और मैं इसे कभी नहीं भूल सकता। लगभग 40 साल पहले गुजरात के अहमदाबाद में फ्रांस का एक सांस्कृतिक केंद्र शुरू किया गया था और उसी केंद्र के पहले सदस्य आज आपसे बात कर रहे हैं। ’’ मोदी ने कहा कि भारत लोकतंत्र की जननी और विविधता की जननी है। उन्होंने कहा, ‘‘यही हमारी सबसे बड़ी ताकत है। भारत में 100 से अधिक भाषाएं, 1,000 से अधिक बोलियां हैं। इन भाषाओं में प्रतिदिन 32,000 से अधिक समाचार पत्र प्रकाशित होते हैं।