आनंद अकेला की रिपोर्ट
सिंगरौली। जिला सिंगरौली के कोतवाली बैढ़न में पदस्थ आरक्षक जितेंद्र सेंगर अपने अधिकारियों के हमेशा से चहेते रहे हैं और यह संभव हुआ है l उनकी मेहनत और लगन से अधिकतर पुलिस की समाज में नकारात्मक छवि ही देखने सुनने को मिलती है l उसके बीच में ऐसे आरक्षकों का काम प्रशंसनीय को जाता है l
बात कुछ दिन पूर्व की है जब न्यायालय बैठन के सामने से अज्ञात चोरों द्वारा पार्किंग में खड़ी गाड़ी से पैसों का बैग लेकर अज्ञात चोर भाग गए लगातार प्रयास के बाद भी चोरी का कोई सुराग नहीं मिल रहा था तथा चोर पकड़ में नहीं आ रहे थे l जिस पर पुलिस अधीक्षक के निर्देश व नगर पुलिस अधीक्षक विंध्यनगर की निगरानी में कोतवाली प्रभारी के लगातार मार्गदर्शन में अलग-अलग टीमें अलग-अलग दिशा में काम करने लगी l जिसमें जितेंद्र सिंह अपनी टीम जिसमें प्रधानारक्षक अरविंद द्विवेदी प्रवीण सिंह आदि लोग शामिल थे l प्रत्येक बैंक में जाकर सीसीटीवी खंगालने लगे जिसमें लगातार प्रयास के बाद चौथे दिन चोरों के रूप में कंजरो की पहचान जितेंद्र सिंह व उसकी टीम द्वारा कर ली गई और अन्य टीमों की मदद से कंजरो की गिरफ्तारी सहित चोरी का माल बरामद कर लिया गया। जिसमें महत्वपूर्ण भूमिका जितेंद्र सिंह की रही, जिस पर कोतवाली प्रभारी अरुण पांडे द्वारा आरक्षक जितेंद्र को ₹5000 नगद देकर उनकी हौसला अफजाई की।
ऐसे कई प्रकरण है जिसमें आरक्षक द्वारा उत्कृष्ट कार्य किया गया है l जिसमें एक प्रकरण में शुरुआती कोरोनावायरस काल में महिला से छेड़छाड़ व पास्को एक्ट के आरोपी ओमप्रकाश बसोर, जो 23 अप्रैल को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया गया था, 26 अप्रैल को स्वास्थ्य खराब होने पर कोविड-19 हेतु बनाए गए आइसोलेशन वार्ड में भर्ती किया गया जो वहां से रात्रि में फरार हो गया l जिसकी तलाश संपूर्ण जिले में होने लगी जिसे प्रातः जितेंद्र सिंह सेंगर ने अकेले ही जयंत में पकड़ लिया जिस पर पुलिस अधीक्षक महोदय द्वारा कोतवाली प्रभारी एवं आरक्षक को नगद पुरस्कार से पुरस्कृत किया गया था।
जितेन सिंह सेंगर ने कोतवाली में अपने प्रभारियों निरीक्षक मनीष त्रिपाठी फिर निरीक्षक अरुण पांडे के अधीनस्थ कार्य कर उनके मार्गदर्शन में कई अच्छे अच्छे कार्य किए हैं जिस पर उन्हें पिछले कई वर्षों से लगातार गणतंत्रता दिवस एवं स्वतंत्रता दिवस में पुलिस विभाग द्वारा पुरस्कृत भी किए जा रहे हैं।
सादी वर्दी मुंह में गमछा लपेटे आरक्षक किसी भी चौराहे एवं गली में बैठा घूमता दिख जाएगा लेकिन अपराध या घटना की सूचना मिलते ही तत्काल यह घटना स्थल पर भी खड़ा मिलेगा । आरक्षक जितेंद्र सेंगर मूलतः सीधी जिले के रहने वाले हैं एवं वर्ष 2012 में पुलिस विभाग में भर्ती होकर सिंगरौली जिले के विभिन्न थानों में अपनी सेवाएं दे रहे हैं। आमजन सहित उनके साथ कार्यरत पुलिस अधिकारियों द्वारा भी आरक्षक की प्रशंसा की जा रही है l