नई दिल्ली: लोकसभा चुनाव में चार चरणों की वोटिंग पूरी हो गई है. अब सिर्फ तीन चरण बाकी है. राजनीतिक दलों ने प्रचार अभियान तेज कर दिया है. बीजेपी नेताओं ने 400 लोकसभा सीटें जीतने के मिशन को स्पीड पकड़ा दी है. हालांकि, इस आंकड़े के पीछे की वजह पर अलग-अलग विचार और दृष्टिकोण हैं. बीजेपी के ‘400 सीट’ के टारगेट को समझाने वाले नई शख्सियत का नाम असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा हैं.
काशी और मथुरा के भव्य मंदिर के लिए…
मंगलवार को हिमंत ने पूर्वी दिल्ली लोकसभा सीट से बीजेपी प्रत्याशी हर्ष मल्होत्रा के समर्थन में लक्ष्मी नगर में चुनावी रैली को संबोधित किया. उन्होंने कहा, जब लोकसभा चुनाव में बीजेपी 400 के पार पहुंच जाएगी, तब मथुरा में कृष्ण जन्मस्थान पर एक भव्य मंदिर बनाया जाएगा और काशी में ज्ञानवापी मस्जिद के स्थान पर बाबा विश्वनाथ का भव्य मंदिर बनाया जाएगा.
इससे पहले 11 मई को असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा ने बिहार के बेगुसराय में वरिष्ठ बीजेपी नेता गिरिराज सिंह के समर्थन में रैली की और कहा, पूरे देश में समान नागरिक संहिता (यूसीसी) लागू करने और मथुरा में कृष्ण जन्मस्थान पर अत्याधुनिक मंदिर निर्माण के लिए एनडीए को लोकसभा में 400 से ज्यादा सीटें जीतनी होंगी.
9 मई को असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा ने ओडिशा के मलकानगिरी में एक रैली को संबोधित किया और कहा, बीजेपी 400 सीटें इसलिए मांग रही है, क्योंकि कांग्रेस अयोध्या में राम मंदिर के स्थान पर बाबरी मस्जिद का पुनर्निर्माण करा सकती है. उन्होंने कहा कि मतदाताओं को यह सुनिश्चित करना होगा कि भारत में बाबरी मस्जिद का पुनर्निर्माण कभी ना हो. इसलिए हमें पीएम मोदी को 400 से ज्यादा सीटें देनी होंगी और उन्हें पीएम बनाना होगा.
हिमंत बिस्वा सरमा की 400 लोकसभा सीटों की अपील करना कोई नई बात नहीं है. इससे पहले पीएम मोदी समेत कई बीजेपी नेता 400 सीटों की जरूरत के पीछे अपनी वजह बता चुके हैं. कांग्रेस को राम मंदिर पर बाबरी ताला लगाने से रोकना और कश्मीर में अनुच्छेद 370 बहाल करने से रोकने जैसे तर्क दिए गए हैं.
पीएम मोदी ने क्या कहा था…
7 मई को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कांग्रेस को जम्मू और कश्मीर में अनुच्छेद 370 को बहाल करने से रोकने के लिए लोकसभा में 400 से ज्यादा सीटें जिताने की अपील की थी. उन्होंने कहा था, बीजेपी के नेतृत्व वाले एनडीए की 400 सीटें कांग्रेस को अयोध्या में राम मंदिर पर ‘बाबरी ताला’ लगाने से भी रोकेंगी.
संविधान संशोधन के लिए…
अप्रैल में सामने आए एक वीडियो में मेरठ से बीजेपी के उम्मीदवार अरुण गोविल को संभावित संवैधानिक संशोधनों के बारे में बात करते हुए देखा गया था. यह पूछे जाने पर कि क्या 400 पार का नारा इसलिए दिया गया है क्योंकि सरकार का ऐसा कुछ बड़ा करने की इच्छा है? इस पर गोविल ने कहा, मुझे ये महसूस होता है क्योंकि मोदी जी ऐसे ही कोई बात नहीं कहते हैं, उसके पीछे कोई ना कोई अर्थ जरूर होता है. गोविल ने कहा, संविधान जब हमारे देश का बना था, उसमें धीरे-धीरे परिस्थितियों के हिसाब से बदलाव हुए हैं. बदलाव करना प्रगति की निशानी होती है, उसमें कोई खराब बात नहीं है. तब परिस्थितियां कुछ और थीं, आज की परिस्थितियां कुछ और हैं. संविधान किसी एक व्यक्ति की मर्जी से नहीं बदलता है, सर्वसम्मति होती है तो बदलता है, अगर ऐसा कुछ होगा तो किया जाएगा.
इससे पहले मौजूदा बीजेपी सांसद और अयोध्या से उम्मीदवार लल्लू सिंह ने मिल्कीपुर विधानसभा क्षेत्र में एक सार्वजनिक सभा के दौरान कथित तौर पर कहा था, सरकार को नया संविधान बनाने के लिए संसद में दो-तिहाई बहुमत की आवश्यकता होगी. लल्लू सिंह को कथित तौर पर वायरल वीडियो में यह कहते हुए सुना जा सकता है कि सरकार 272 सांसदों के साथ बनाई जा सकती है, लेकिन संविधान में संशोधन करने या नया संविधान बनाने के लिए हमें (2024 के लोकसभा चुनाव में) दो तिहाई से ज्यादा बहुमत की आवश्यकता है.
अप्रैल के पहले सप्ताह में नागौर लोकसभा सीट से बीजेपी उम्मीदवार ज्योति मिर्धा सोशल मीडिया पर एक कथित वीडियो सामने आने के बाद विवादों में घिर गईं थी. इस वीडियो में वो संविधान संशोधन के लिए संसद के दोनों सदनों में बीजेपी के बहुमत हासिल करने पर चर्चा कर रही थी.
लोकसभा चुनाव से ठीक पहले मार्च में कर्नाटक से बीजेपी के मौजूदा सांसद अनंतकुमार हेगड़े ने कहा था कि मतदाताओं को संवैधानिक संशोधनों के लिए लोकसभा में बीजेपी को दो-तिहाई बहुमत देना चाहिए. हालांकि, बीजेपी ने उनके बयान से खुद को अलग कर लिया था.